काश की मुझमें भी थोड़ा
सपनें दिखाने का हुनर होता
काश की उस हुनर से मैं
तुझे हमारे कल की एक तस्वीर दिखा सकता
शायद उस तस्वीर को देखने के बाद
तेरे सब सवालों के जवाब मिल जाते
और काश की मैं तुझे दिखा पाता
और दूसरे इमकान भी
तो शायद मेरी मोहब्बत को
अपना पक्ष रखने का मुक़म्मल मौक़ा मिलता
तो शायद तेरे फैसले पर असर होता
काश की मैं तुझे भी दिखा पाता
वो खूबसूरत तस्वीर
जिसे तू अनदेखे अनजाने ही
जला रही थी उस दिन
जाते जाते
काश की मुझमें भी थोड़ा
सपनें दिखाने का हुनर होता
Comments
Post a Comment